प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने यंग इंडिया और AJL की संपत्ति की जब्त, सोनिया-राहुल गांधी को बड़ा झटका,
नई दिल्लीः प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (AJL) की करोड़ों रुपये की संपत्ति को अस्थायी तौर पर कुर्क करने का आदेश जारी किया है. यह एक्शन मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ED द्वारा किया गया है. जिसके तहत 751.9 करोड़ रुपये की संपत्ति को कुर्क किया है प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मंगलवार को कहा कि इसने कांग्रेस पार्टी द्वारा प्रवर्तित नेशनल हेराल्ड समाचार पत्र और इससे जुड़ी कंपनियों के खिलाफ धनशोधन की अपनी जांच के तहत करीब 752 करोड़ रुपए मूल्य की अचल संपत्ति और ‘इक्विटी’ हिस्सेदारी (शेयर) जब्त की है। प्राप्त जानकारी के अनुसार कि कुर्क की गई अचल संपत्तियों में नेशनल हेराल्ड का दिल्ली में आईटीओ स्थित कार्यालय परिसर, लखनऊ के कैसरबाग के पास मॉल एवेन्यू स्थित नेहरू भवन और मुंबई में हेराल्ड हाउस शामिल हैं। यंग इंडियन कंपनी के ज्यादातर शेयर कांग्रेस सोनिया गांधी और राहुल गांधी के पास हैं। दोनों में से प्रत्येक के पास 38 प्रतिशत शेयर हैं। बयान में ईडी ने कहा कि इसने पीएमएल के तहत जांच किए जा रहे धनशोधन के मामले में 751.9 करोड़ रुपये की संपत्ति अस्थायी रूप से कुर्क करने का एक आदेश जारी किया था। कानून के तहत, इस तरह के अंतरिम या अस्थायी आदेश को छह महीने की समयावधि में पीएमएलए के निर्णयन प्राधिकार द्वारा मंजूरी दी जानी चाहिए, जिसके बाद ईडी कुर्क संपत्तियों को अपने कब्जे में ले सकती है। बयान में कहा गया, ‘‘जांच में खुलासा हुआ है कि एजेएल के पास अपराध से हुई आय अचल संपत्तियों के रूप में है, जो दिल्ली, मुंबई और लखनऊ जैसे कई शहरों में है। इनका मूल्य 661.69 करोड़ रुपये है। वहीं, यंग इंडियन के पास अपराध से प्राप्त आय 90.21 करोड़ रुपये एजेएल के ‘इक्विटी शेयर’ के रूप में है।” सूत्रों के मुताबिक, मामले में ईडी के आरोपपत्र दाखिल करने के बाद उन्हें पूछताछ के लिए फिर से बुलाया जा सकता है। धनशोधन का यह मामला दिल्ली के मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट के एक आदेश से उपजा है, जिसमें नेशनल हेराल्ड के क्रियाकलाप में कथित अनियमितताओं के खिलाफ एक निजी शिकायत का 26 जून 2014 को संज्ञान लिया गया था। ईडी ने कहा कि अदालत ने पाया था कि यंग इंडियन सहित सात आरोपी व्यक्तियों और संस्थाओं ने ‘प्रथम दृष्टया’ (IPC) की विभिन्न धाराओं के तहत आपराधिक विश्वासघात के अपराध किए, जिसमें धोखाधड़ी और बेईमानी से संपत्ति के लेनदेन को प्रेरित करना, संपत्ति का बेईमानी से दुरुपयोग और आपराधिक साजिश शामिल हैं। ईडी ने कहा,‘‘एजेएल को समाचारपत्र प्रकाशित करने के उद्देश्य से भारत के विभिन्न शहरों में रियायती दरों पर जमीन दी गई थी।”
