उत्तराखंड- स्थानीय व्यापार मंडल धारचूला अभियान
वर्ष 2000 के बाद आए बाहरी व्यक्तियों से चलाया दुकान व मकान खाली करने का अभियान
91 दुकानों के रजिस्ट्रेशन रद्द
1 फरवरी 2024 को अल्पसंख्यक समुदाय के व्यक्ति द्वारा दो स्थानीय नाबालिग लड़कियों को भागने के बाद लिया फैसला
धारचूला- उत्तराखंड राज्य के सीमांत जिले पिथौरागढ़ के व्यापार मंडल धारचूला ने उत्तराखंड बनने के बाद आए 91 दुकानदारों के रजिस्ट्रेशन रद्द कर दिए हैं। इनमें से ज्यादातर मुस्लिम समुदाय के हैं। अल्पसंख्यक समुदाय के व्यक्ति द्वारा दो स्थानीय नाबालिग लड़कियों को भागने के बाद धारचूला शहर का व्यापारी संगठन प्रांतीय उद्योग व्यापार मंडल धारचूला एक अभियान चलाकर स्थानीय लोगों से कह रहा है कि वे ‘बाहरी लोगों‘ को दुकानें और घर किराए पर न दें, इनके बारे में उनका दावा है कि वे पिछले कुछ वर्षों से शहर में बस रहे हैं। प्रांतीय उद्योग व्यापार मंडल के महासचिव गर्बियाल ने कहा कि जिन 91 दुकानदारों के रजिस्ट्रेशन रद्द हुए हैं उनमें से लगभग 85 मुस्लिम समुदाय से हैं जबकि अन्य हिंदू हैं। इनमें से अधिकतर वे लोग हैं जो उत्तराखंड बनने के बाद धारचूला आए हैं,
1 फरवरी 2024 घटना के तुरंत बाद व्यापारियों के संगठन ने पिछले महीने धारचूला शहर के बाजार में विरोध प्रदर्शन भी किया था। हालांकि पुलिस ने घटना के दो दिन के अंदर ही शख्स को बरेली से गिरफ्तार किया। उसपर किडनैपिंग, यौन उत्पीड़न के आरोप और पॉक्सो के तहत मामला दर्ज किया गया। धारचूला के एसडीएम मंजीत सिंह का कहना है कि इस मामले के बाद समुदाय विशेष के प्रति नाराजगी पैदा हुई। उन्होंने कहा कि जो भी दुकानदार व्यापारियों के संगठन द्वारा किसी भी उत्पीड़न की शिकायत कर रहे हैं, उन्हें सुरक्षा दी जा रही है। एसडीएम के अनुसार सभी समुदायों के लोगों के साथ बातचीत करने के लिए कई दौर की बैठकें आयोजित की जा रही हैं। प्रशासन यह सुनिश्चित कर रहा है कि कानून व्यवस्था की स्थिति खराब न हो।
विदित हो कि ऐसी घटना अल्मोडा जिले के द्वाराहाट और जून 2023 में उत्तरकाशी जिले के पुरोला में भी ऐसी ही घटना हुई थी, जहां अलग-अलग समुदायों के एक युवक और एक नाबालिग लड़की के साथ जाने की कोशिश के बाद सीमांत जिले में संगठनों ने शहर में अल्पसंख्यक व्यक्तियों के प्रवेश पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने की मांग करनी शुरू कर दी थी।
